भारत की सीमाएं सुरक्षित, जवाबी हमले में पाकिस्तान को भारी नुकसान
नई दिल्ली (नांदगाँव टाइम्स) पाकिस्तान की ओर से एक बार फिर अंतरराष्ट्रीय नियमों की अनदेखी करते हुए भारत पर एक असफल और अकारण ड्रोन व मिसाइल हमला किया गया। यह हमला 7 मई की रात 8:30 बजे के करीब हुआ, जिसमें पाकिस्तान ने भारतीय सीमाओं को लक्षित करने की कोशिश की। हालांकि, भारतीय वायु रक्षा प्रणाली ने समय रहते कार्रवाई करते हुए इस हमले को विफल कर दिया और एक पाकिस्तानी एयर डिफेंस (AD) रडार को सफलतापूर्वक नष्ट कर दिया। आज दिल्ली में आयोजित एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में विदेश सचिव विक्रम मिसरी, कर्नल सोफिया अंसारी और व्योमिका सिह ने जानकारी दी ।
इसके साथ ही पाकिस्तान ने जम्मू-कश्मीर के संगधार, उरी, पुंछ, मेंढर, राजौरी, अखनूर और उधमपुर जैसे संवेदनशील क्षेत्रों में भारी कैलिबर की आर्टिलरी गनों और सशस्त्र ड्रोन का उपयोग कर नियंत्रण रेखा (LoC) के पार भारी गोलीबारी की। इस हमले में भारतीय सेना के कुछ जवान हताहत हुए और कई घायल हुए। हालांकि, भारतीय सेना ने त्वरित और सटीक जवाबी कार्रवाई करते हुए पाकिस्तानी सेना को भारी नुकसान पहुँचाया।
सूत्रों के अनुसार, पाकिस्तान द्वारा भेजे गए 300 से 400 ड्रोन भारतीय क्षेत्र में घुसपैठ की कोशिश कर रहे थे। इनमें से कई ड्रोन भारतीय सशस्त्र बलों द्वारा किनेटिक (शारीरिक) और नॉन-किनेटिक (इलेक्ट्रॉनिक) तरीकों से मार गिराए गए। इन ड्रोन हमलों का उद्देश्य भारतीय एयर डिफेंस सिस्टम की क्षमता को परखना और खुफिया जानकारी एकत्र करना था। प्रारंभिक जांच में इन ड्रोन का संबंध तुर्की के ‘असिफ गाड सोंगर’ मॉडल से जोड़ा जा रहा है।
रात के समय, एक सशस्त्र UAV (मानवरहित हवाई वाहन) ने पंजाब के भटिंडा सैन्य स्टेशन को निशाना बनाने की कोशिश की, जिसे भारतीय वायुसेना ने सफलतापूर्वक नष्ट कर दिया। जवाबी कार्रवाई में भारत ने चार पाकिस्तानी एयर डिफेंस साइट्स पर ड्रोन हमले किए, जिनमें से एक हमले में पाकिस्तान का एक एडी रडार तबाह कर दिया गया।गंभीर बात यह रही कि इतने बड़े सैन्य तनाव और हमले के बावजूद पाकिस्तान ने अपने नागरिक हवाई क्षेत्र को बंद नहीं किया और उल्टा अपने नागरिक विमानों को ढाल की तरह इस्तेमाल करने की कोशिश की।
फ्लाइट ट्रैकिंग वेबसाइट “फ्लाइट रडार 24” पर उपलब्ध आंकड़ों के अनुसार, 7 मई की रात के दौरान लाहौर की ओर उड़ रहे कई वाणिज्यिक विमानों की गतिविधियां देखी गईं, जबकि भारत ने एहतियातन अपने नागरिक हवाई क्षेत्र को पूरी तरह बंद कर दिया था।
भारत ने इस पूरे घटनाक्रम में संयम बरता और अंतरराष्ट्रीय नागरिक विमान सेवा की सुरक्षा को प्राथमिकता दी। भारतीय वायुसेना की तत्परता और सटीक प्रतिक्रिया ने एक बार फिर साबित कर दिया कि भारत अपनी सीमाओं की रक्षा के लिए पूरी तरह सक्षम और तैयार है।