राजनांदगांव। सुशासन तिहार के आवेदनों के बंडल एक कार्यालय से दूसरे कार्यालय के फेरे लगा रहे हैं। शहर कांग्रेस कमेटी के महामंत्री हनी ग्रेवाल ने आरोप लगाया कि, मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने अपनी असफलता को छिपाने सुशासन की छवि गढ़ने के लिए जो योजना तैयार की वह नागरिकों की असंतुष्टि और आक्रोश का कारण बन रही है, जहां जनता सीधे जवाब और सीधी कार्रवाई की आशा रखती है, वहां उन्हें आवेदन और उसकी प्रक्रियाओं में उलझाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि, 65 प्रतिशत आवेदनों का यह कहकर निराकरण किया गया है कि उसे कार्रवाई के लिए संबंधित विभाग को हस्तांतरित किया गया है। अगर, ये सरकार इसे ही समाधान ठहराती है तो ये उसका निकम्मापन है।
ग्रेवाल ने दावे के साथ कहा कि, सरकार इस तिहार और समाधान शिविरों की सफलता को लेकर जो बातें कहे रही है वे पूरी तरह बेबुनियाद है। उन्होंने कहा कि, पहले से जारी योजनाओं को इस शिविर में समायोजित कर इसे सफल बताने का प्रयास किया जा रहा है। किसानों को कृषि उपकरण का आबंटन, श्रमिकों को उपकरण, पीएम आवास योजना, मत्स्य विभाग की योजनाओं का लाभ, महिला समूहों को संसाधन उपलब्ध कराने के लिए कई योजनाएं पूर्व से संचालित हैं। ऐसे में सवाल उठता है कि, इस तिहार और शिविर की उपलब्धि क्या है। शिविरों में जन्म, मृत्यु और जाति प्रमाण पत्र बांटा जा रहा है तो ये सिस्टम की कमियां हैं, जो सुविधाएं नागरिकों को समय पर मिलनी चाहिए, वे काम शिविरों में हो रहे हैं। ये तो असफलता और कुशासन का परिचायक है।
आवेदनों की कोई सुनवाई नहीं, समाधान शिविर में प्रमाण पत्र बांट रहे : हनी ग्रेवाल
